लुधियाना: बरसाती मौसम के कारण पंजाब में डेंगू के साथ-साथ आई फ्लू के मामले भी तेजी से बढ़ते जा रहे हैं। तेजी से फैल रही आंखों की बीमारी कंजंक्टिवाइटिस को ही आई फ्लू या पिंक आई कहा जाता है। यह वायरस या बैक्टीरिया के कारण होने वाला संक्रमण है। बच्चे इसकी चपेट में जल्दी आ रहे हैं इसलिए माता-पिता के लिए स्वास्थ्य विभाग की ओर से एडवायजरी भी जारी कर दी गई है।
कोरोना की तरह करे बचाव
-आई फ्लू से बचाव के लिए कोरोना से बचाव वाले नियमों का इस्तेमाल करें। बीमारी का पता लगते ही मरीज को आइसोलेट करें। उस से दूरी बनाकर रखें और बार-बार हाथों को साफ करें।
-आंखों में बार-बार पानी के छींटे मारे और हाथ ना लगाएं।
-आंखों में जलन, सूजन और दर्द होने पर डॉक्टर से संपर्क करें।
गर्भवती महिलाओं व बच्चों को इसका विशेष ध्यान रखें। अगर किसी बच्चे को आई फ्लू है तो उसे स्कूल ना जाने दें।
-खांसी और छींकते समय मुंह पर रुमाल रखें।
ये हो सकते हैं आई फ्लू के लक्षण
-आंखों में खुजली, लालपन, सूजन
-आंख से सफेद स्राव, नाक बहना, बुखार आदि।
आई फ्लू से बचाव के लिए करें ये उपाय
1. सनग्लासेस का इस्तेमाल करके आंखों को सुरक्षित रखें। इससे आंखें हानिकारक यूवी किरणें, धूल, गंदगी और बारिश से सुरक्षित रहेंगी।
2. आंखों को रगड़ने से बचें। साथ ही अपनी व्यक्तिगत वस्तुओं को साझा करने से बचें जो आपकी आंखों के सीधे संपर्क में आती हैं, जैसे तौलिया, मेकअप और कॉन्टैक्ट लेंस आदि।
3. जब आपकी आँखों में जलन हो तो कॉन्टैक्ट लेंस या मेकअप न पहनें।
4. गंदे हाथों से उनकी आँखों को छूने से बचें क्योंकि ऐसा करने से बैक्टीरिया और कीटाणुओं के स्थानांतरित होने से संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है।