चंडीगढ़ (Exclusive): पंजाब में इन दिनों कांग्रेस के बीच खूब कलह चल रही है। जितनी कलह पंजाब में है, उससे ज्यादा टेंशन दिल्ली हाईकामन के दिमाग में है। लेकिन इस बीच एक चर्चा आ रही है कि नवजोत सिंह सिद्धू को पंजाब कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया जा रहा है।
कांग्रेस का यह फैसला कई राजनीतिक पंडितों के गले नहीं उतर रहा है लेकिन अगर पार्टी का पास्ट देखें तो यह एक सामान्य कदम है जो कांग्रेस ने पहले भी उठाया था औऱ मुंह की खानी पड़ी थी।
पंजाब में कांग्रेस ने 2007 के चुनावों से पहेल एक ऐसा ही कदम उठाया था। पार्टी ने शमशेर सिंह दूलो को पार्टी का अध्यक्ष बना दिया तथा पार्टी में दो गुट बन गए। दो गुटों में लड़ाई इतनी तेज हुई कि कांग्रेस पंजाब की सत्ता से गायब हो गई।
वही गल्ती पार्टी अब करेगी अगर सिद्धू को पार्टी में अध्यक्ष बनाया जाता है। सिद्धू को प्रधान बनाने के बाद पंजाब कांग्रेस में बगावत तेज हो सकती है। सिद्धू जो अभी पांच साल पहले ही पार्टी में आए हैं, उन्हें इतना अहम पद देना औऱ बरसों से पार्टी के लिए काम कर रहे लोगों को दरकिनार करना इसका बड़ा कारण हो सकता है।
वैसे भी सिद्धू के पास अब वो दमखम नहीं रहा कि वह पंजाब में पार्टी को नई उंचाई पर ले जाएं। सिद्धू का आम जनता में वो पहले वाला ट्रैंड भी नहीं रहा है। ऐसे में पार्टी की तरफ से लिया जा रहा यह कदम पार्टी के लिए पंजाब में बची खुची सरकार से भी हाथ धोने के लिए काफी हो सकता है।