

आंध्र प्रदेश: चंद्रयान -3 लैंडर विक्रम लॉन्चिंग में महज चंद घंटे ही बाकी है। चंद्रयान -3 लैंडर विक्रम 40 दिनों की यात्रा के बाद 23 अगस्त को शाम 5.47 बजे चंद्रमा की सतह पर उतरेगा। इस बात की पुष्टि मिशन में शामिल कम से कम दो लोगों ने टीओआई से की। लैंडर और उसके अंदर रोवर को ले जाने वाला इसरो का LMV3 रॉकेट शुक्रवार को दोपहर 2.35 बजे श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र में लॉन्चपैड से उड़ान भरेगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट करते हुए इसरो को बधाई दी और कहा कि 14 जुलाई को भारत के इतिहास में सुनहरे अक्षरों में लिखा जाएगा। मैं चंद्रयान-3 मिशन के लिए सभी को शुभकामनाएं देता हूं, आप सभी को इसके बारे में और ज्यादा जानना चाहिए।
बता दें कि 23 अगस्त को आखिरी लैंडिंग को इसरो के बेंगलुरु स्टेशन द्वारा ट्रैक किया जाएगा। अगर विक्रम सॉफ्ट-लैंडिंग में सफल हो जाता है तो अमेरिका, रूस और चीन के बाद भारत यह वैज्ञानिक उपलब्धि हासिल करने वाला चौथा देश होगा। 2019 में सॉफ्टलैंडिंग में असफल रहे चंद्रयान-2 से सबक लेते हुए, इसरो ने सुरक्षित लैंडिंग सुनिश्चित करने के लिए तीसरे चंद्रमा मिशन में कई बदलाव किए हैं। विक्रम लैंडर मिशन की कुल लाइफ 1 लूनर डे यानी 14 दिन है, जबकि प्रज्ञान रोवर की लाइफ भी इतनी ही है।
चंद्रयान-3, भारत का तीसरा चंद्रमा मिशन है, इसमें ‘देसी’ तत्व भी शामिल है। एक वरिष्ठ वैज्ञानिक ने कहा, “चंद्रयान-2 लैंडिंग को मैड्रिड (नासा-जेपीएल) स्टेशन के माध्यम से ट्रैक किया गया था लेकिन इस बार हम बेंगलुरु में इसरो टेलीमेट्री, ट्रैकिंग और कमांड नेटवर्क (इस्ट्रैक) स्टेशन से लैंडर को ट्रैक करेंगे।” गणना के अनुसार, विक्रम को 23 अगस्त शाम 5.47 बजे चंद्रमा पर उतरना चाहिए। हालांकि मिशन प्रोफाइल में बदलाव के कारण इसमें बदलाव हो सकता है।